झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की गिरफ्तार के मामले में सुप्रीम कोर्ट में आज सुनवाई होगी. आज सुबह जस्टिस संजीव खन्ना, जस्टिस MM सुंदरेश और जस्टिस बेला एम त्रिवेदी की बेंच सुनवाई करेगी. हेमंत सोरेन ने अपनी गिरफ्तारी को अवैध बताकर कहा कि गिरफ्तारी मेमो में गिरफ्तारी का समय सुबह 10 बजे का दिखाया गया, जबकि उन्हें शाम 5 बजे गिरफ्तार किया गया, इस मामले को देखते हुए हेमंत सोरेन के वकील वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने याचिका दायर की है. nED पर लगा आरोपnहेमंत सोरेन की याचिका के अनुसार ED ने अपने अधिकारों का दुरुपयोग करते हुए उन्हें गवर्नर हाउस से अवैध तरीके से हिरासत में लिया, जबकि वे गवर्नर हाउस में गवर्नर को अपना इस्तीफा देने गए थे. ED को उनके वकील ने ईमेल करके बताया था कि सुप्रीम कोर्ट 31 जनवरी की रात को इस मामले की सुनवाई करेगी, इसलिए सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने तक आपको रुकना होगा, लेकिन ED के असिस्टेंट डायरेक्टर देवब्रत झा ने उन्हें हिरासत में लेने का आदेश दिया, जिसके बाद ED ने उन्हें रातभर अपनी हिरासत में रखा. nnFighter Hemant Soren releases video message for the people of Jharkhand before getting arrested by ED.Hemant Soren also explains how BJP has framed him falsely without any evidences. pic.twitter.com/L3kvwRn8SUn— Anshuman Sail Nehru (@AnshumanSail) February 1, 2024nnnnक्या है हेमंत सोरेन का मामला?nहेमंत सोरेन को रांची के जमीन घोटाले और मनी लॉन्ड्रिंग केस में गिरफ्तार किया गया है. उन पर सेना की जमीन को अवैध रूप से खरीदकर और बेचने का आरोप लगा है. इस मामले के सामने आते ही रांची नगर निगम ने शिकायत दर्ज कराई, जिसके बाद ED ने भी ECIR रिपोर्ट दर्ज कर मामले की जांच की, जिसमें सामने आया कि 4.55 एकड़ जमीन अवैध रूप से खरीदी बेची गईnED ने हेमंत सोरेन पर लगाए आरोप nED का आरोप है कि हेमंत सोरेन ने जांच में सहयोग नहीं किया क्योंकि ED की ओर से उन्हें करीब 10 समन भेजे गए, लेकिन वे पूछताछ के लिए एक बार भी पेश नहीं हुए, जिसके बाद ED ने मामले की जांच कर 14 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है. हैरानी की बात यह है कि 2011 बैच के IAS अधिकारी, छवि रंजन भी मामले में आरोपी हैं और इस समय ED की गिरफ्त में हैं. झारखंड समाज कल्याण विभाग के निदेशक और रांची के उपायुक्त रहते हुए वे इस मामले से जुड़े है. nED का कहना है कि जांच के दौरान हेमंत सोरेन के प्रेस सलाहकार के ठिकानों पर रेड मारी गई. साहिबगंज जिलाधिकारी और विधायक रह चुके एक नेता के यहां भी छापामारी हुई. जांच के दोरान हेमंत सोरेन के दिल्ली वाले घर से करीब 36 लाख केश मिला था, लेकिन ED की इस कार्रवाई के खिलाफ हेमंत सोरेन ने FIR दर्ज करा दी.



