जानें, खेल मंत्रालय ने कुश्ती संघ को क्यों किया निलंबित?
Know why the Sports Ministry has suspended the wrestling association and president Sanjay Singh. जानें खेल मंत्रालय ने कुश्ती संघ और अध्यक्ष संजय सिंह को क्यों निलंबित कर दिया है.
खेल मंत्रालय ने रविवार को बड़ा फैसला लिया. मंत्रालय ने संजय सिंह के नेतृत्व में हाल ही में चुने गए नए कुश्ती संघ को निलंबित कर दिया. संजय सिंह को बीजेपी सांसद बृजभूषण सिंह का करीबी माना जाता है. वे गुरुवार को ही कुश्ती संघ के अध्यक्ष चुने गए थे. कुश्ती संघ के लिए हुए चुनाव में उन्हें 47 में से 40 वोट मिले थे. जबकि उनकी प्रतिद्वंदी और कॉमनवेल्थ गेम्स में स्वर्ण पदक विजेता अनीता श्योराण को सिर्फ 7 वोट मिले थे. अनीता को बृज भूषण के खिलाफ यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वाले पहलवानों का समर्थन था. संजय सिंह इससे पहले उत्तर प्रदेश कुश्ती संस्था के उपाध्यक्ष रह चुके हैं. वे 2019 से डब्ल्यूएफआई की अंतिम कार्यकारी परिषद का हिस्सा थे.
ताजपोशी के तीन दिन बाद ही संजय सिंह पर क्यों गिरी गाज?
नए कुश्ती संघ ने हाल ही में जूनियर नेशनल चैंपियनशिप गोंडा में कराने का ऐलान किया था. खेल मंत्रालय की ओर से कहा गया है कि, ये फैसला 'डब्ल्यूएफआई के संविधान के प्रावधानों का पालन किए बिना' किया गया था. खेल मंत्रालय ने बयान में कहा, WFI के नवनिर्वाचित कार्यकारी निकाय द्वारा लिए गए फैसले WFI के प्रावधानों और नेशनल स्पोर्ट्स डेवलेपमेंट कोड का उल्लंघन हैं. ऐसे फैसले कार्यकारी समिति द्वारा लिए जाते हैं, जिसके समक्ष एजेंडे को विचार के लिए रखा जाना जरूरी होता है. इन फैसलों में नए अध्यक्ष की मनमानी दिखाई देती है, जो सिद्धांतों के खिलाफ है. एथलीटों, हितधारकों और जनता के बीच विश्वास बनाना अहम है.
मैंने कुश्ती छोड़ दी है पर कल रात से परेशान हूँ वे जूनियर महिला पहलवान क्या करें जो मुझे फ़ोन करके बता रही हैं कि दीदी इस 28 तारीख़ से जूनियर नेशनल होने हैं और वो नयी कुश्ती फेडरेशन ने नन्दनी नगर गोंडा में करवाने का फ़ैसला लिया है।
— Sakshee Malikkh (@SakshiMalik) December 23, 2023
गोंडा बृजभूषण का इलाक़ा है। अब आप सोचिए कि…
खेल मंत्रालय ने कहा, ऐसा लगता है कि नया कुश्ती संघ खेल संहिता की पूरी तरह अनदेखी करते हुए पूरी तरह से पिछले पदाधिकारियों के नियंत्रण में है, जिनके खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए गए थे. इतना ही नहीं मंत्रालय ने कहा, फेडरेशन का कामकाज पूर्व पदाधिकारियों द्वारा नियंत्रित परिसर से चलाया जा रहा है. इस परिसर में खिलाड़ियों के कथित यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया गया है और वर्तमान में कोर्ट इस मामले की सुनवाई कर रही है.
संजय सिंह की जीत के बाद साक्षी मलिक ने लिया था संन्यास
संजय सिंह के अध्यक्ष बनने के बाद से विवाद लगातार बढ़ता जा रहा था. रेसलर साक्षी मलिक ने संजय सिंह को बृजभूषण सिंह का करीबी बताते हुए संन्यास का ऐलान किया था. साक्षी मलिक ने कहा था, पहलवानों की लड़ाई बृजभूषण के खिलाफ थी. हम चाहते थे कि फेडरेशन से उसका कब्जा खत्म हो जाए. सरकार से हमारी बात भी हुई थी कि किसी महिला को फेडरेशन का अध्यक्ष बनाया जाए. ताकि महिला पहलवानों के शोषण की शिकायतें न आएं, सरकार ने हमारी मांग को स्वीकार करने का आश्वासन भी दिया था. लेकिन नतीजा सबके सामने है, बृजभूषण का राइट हैंड और बिजनेस पार्टनर ही फेडरेशन का अध्यक्ष बन गया.