मोदी सरकार का कृषि क्षेत्र में कमाल, क्या है ड्रोन दीदी योजना?

ड्रोन के इस्तेमाल में महिलाओं को आगे लाने के लिए और ग्रामीण महिलाओं को इसके जरिए रोजगार के बेहतरीन अवसर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से पीएम मोदी ने नमो ड्रोन दीदी योजना की शुरुआत की है. With the aim of bringing women forward in the use of drones and providing excellent employment opportunities to rural women through it, PM Modi has started NaMo Drone Didi Scheme.

मोदी सरकार का कृषि क्षेत्र में कमाल, क्या है ड्रोन दीदी योजना?

कृषि में ड्रोन के इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिए मोदी सरकार लगातार कार्य कर रही है. ड्रोन के इस्तेमाल में महिलाओं को आगे लाने के लिए और ग्रामीण महिलाओं को इसके जरिए रोजगार के बेहतरीन अवसर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से पीएम मोदी ने नमो ड्रोन दीदी योजना की शुरुआत की है. 

इस योजना के तहत कई ग्रामीण महिलाएं ड्रोन दीदी बन कर बेहतर कमाई कर रही हैं और अपनी आजीविका चला रही है. नमो दीदी योजना के तहत मोदी सरकार स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को ड्रोन उपलब्ध करा रही है. इस ड्रोन का इस्तेमाल कृषि कार्यों के लिए किया जा रहा है. वहीं लखपति दीदी योजना के जरिए ग्रामीण महिला किसानों को ड्रोन चलाने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है और उन्हें वित्तीय सहायता भी दी जा रही है.   

पूरी करनी होगी ये तीन शर्तें

केंद्र सरकार ने साल 2023 दिसंबर में ड्रोन दीदी योजना की शुरूआत की थी, जिसके तहत देश में स्वयं सहायता समूह की सदस्य महिलाओं मे से 15000 से अधिक महिलाओं को ड्रोन दीदी बनाने का लक्ष्य रखा गया है. जिसके लिए उन्हें ड्रोन चलाने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है. इस योजना का उद्देश्य देश की ग्रामीण महिलाओं को रोजगार से जोड़ने हुए आत्मनिर्भर बनाना है. लेकिन इसके लिए नमो ड्रोन दीदी योजना के तहत महिलाओं को लाभ लेने के लिए महिला को स्वयं सहायता समूह का सक्रिय सदस्य होना होगा, महिला का भारत का नागरिक होना होगा, लाभ लेने के लिए महिला की उम्र 18 वर्ष से अधिक होनी चाहिए जैसी इन तीन शर्तों को पूरा करना होगा.  

इन दस्तावेजों की होगी जरूरत

पीएम ड्रोन दीदी योजना का लाभ स्वयं सहायता समूही की महिलाओं को ही दिया जाएगा. योजना के अंतर्गत चयनित महिला को 15 दिनों के तक ड्रोन चलाने का प्रशिक्षण दिया जाएगा. ड्रोन दीदी के रुप में जो महिला काम करेगी उन्हें 15,000 रुपये की सैलरी दी जाएगी. ड्रोन चलाने का प्रशिक्षण 10 से 15 गांवों का एक कलस्टर बनाकर महिलाओं को दिया जाएगा. योजना के माघ्यम डीबीटी के जरिए महिलाओं के खाते में उनकी सैलरी ट्रांसफर की जाएगी. योजना का लाभ लेने के लिए आधार कार्ड, स्थानीय निवासी प्रमाण पत्र, पैन कार्ड, फोन नंबर, ईमेल आईडी, पासपोर्ट साइज फोटो, स्वयं सहायता ग्रुप का पहचान पत्र जैसे दस्तावेजों की जरूरत पड़ती है.