मराठाओं को मिल जाएगा आरक्षण! खत्म हुई सर्वदलीय बैठक
Know what decisions were taken in the all-party meeting regarding Maratha reservation in Maharashtra. जानें महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण को लेकर हुई सर्वदलीय बैठक में क्या फैसले लिए गए.
मराठा आरक्षण की मांग को लेकर महाराष्ट्र में बीते तीन दिनों से बवाल जारी है. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने इस मुद्दे पर आज यानी बुधवार को एक सर्वदलीय बैठक बुलाई थी. बैठक में सीएम शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस भी शामिल हुए. जबकि, उपमुख्यमंत्री अजित पवार डेंगू की वजह से बैठक में हिस्स नहीं ले पाए. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, सरकार रिजर्वेशन देने पर विचार कर रही है. लेकिन इससे पहले सभी पहलुओं को देखना चाहती है और विचार कर रही है.
सरकार सभी के बारे में सोच रही है. हर मुद्दों पर बात हुई. सभी दलों ने हिंसा की निंदा की और नाराजगी जताई है. कानून के तहत आने वाले सभी पहलुओं पर विचार किया जाएगा. किसी भी समाज के साथ अन्याय ना करते हुए मराठा समाज को रिजर्वेशन दिया जाएगा.
आरक्षण के मुद्दे पर दो तरीके से काम जारी है. इस मामले को लेकर कमेटी बनाई गई है. पिछली बार जो गलती हुई थी, उसे हम ठीक करेंगे. मैं आपको आश्वासन देता हूं कि मराठा समाज को न्याय देने के लिए कदम उठाए जाएंगे. बैठक में सभी राजनीतिक दलों ने इस पर सहमति जताई है. मनोज जरांगे को सरकार पर विश्वास रखना होगा.
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे राज्य के कुछ हिस्सों में हिंसक आंदोलन के बाद एक्शन में आ गए हैं. शिंदे मराठा आरक्षण आंदोलन के बीच हालात पर चर्चा करने के लिए सर्वदलीय बैठक बुलाई है. शिंदे विपक्षी दलों के नेताओं को स्थिति से निपटने के लिए सरकार की योजनाओं से अवगत कराएंगे.
शिवसेना (यूबीटी) सांसद संजय राउत ने सरकार पर सर्वदलीय बैठक में नहीं बुलाने का आरोप लगाया है. संजय राउत का कहना है कि मराठा आरक्षण पर महाराष्ट्र सरकार द्वारा बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में उनकी पार्टी के सांसदों और विधायकों को आमंत्रित नहीं किया गया है. राज्य सरकार द्वारा बुलाई गई बैठक में केवल महाराष्ट्र विधान परिषद में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे को बुलाया गया है.
महाराष्ट्र में मराठाओं के आरक्षण के लिए अनशन कर रहे मनोज जरांगे ने सरकार को अल्टीमेटम दिया है. जरांगे ने कहा है कि मराठा समुदाय 'अधूरा आरक्षण' स्वीकार नहीं करेगा. सरकार को पूरे राज्य में मराठा आरक्षण की घोषणा करनी चाहिए. मराठाओं के लिए आरक्षण की मांग कर रहे मनोज जरांगे का अनिश्चितकालीन अनशन अब भी जारी है.